डबल इंजन सरकार में बुलेट ट्रेन की रफ्तार से हो रहा है दक्षिणांचल का विकास
गोरखपुर। लिंक एक्सप्रेसवे के इंडस्ट्रियल कॉरिडोर और धुरियापार इंडस्ट्रियल टाउनशिप से जुड़कर दक्षिणांचल के लोग अब गिरमिटिया मजदूर नहीं बल्कि उद्योगपति बनेंगे। यह बात मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को गोला तहसील के भरौली में बाबू आरएन सिंह डायलिसिस सेंटर के लोकार्पण व स्मृतिशेष आरएन सिंह की प्रतिमा के अनावरण समारोह में कही।
मुख्यमंत्री ने भरौली के रामसखी रामनिवास शिक्षण संकुल परिसर में
पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के लिंक एक्सप्रेस वे से जुड़ा
आयोजित समारोह में कहा कि गोरखपुर का दक्षिणांचल डबल इंजन सरकार में विकास के पथ पर बुलेट ट्रेन जैसी रफ्तार से आगे बढ़ रहा है। यहां राम जानकी मार्ग का कायाकल्प हो रहा है। धुरियापार में बायोफ्यूल प्लांट की स्थापना की जा रही है। इससे यहां के लोगों को खरपतवार व गोबर का भी पैसा मिलेगा। दक्षिणांचल पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के लिंक एक्सप्रेस वे से जुड़ रहा है। लिंक एक्सप्रेसवे के किनारे बड़े-बड़े उद्योग लगेंगे। धुरियापार इंडस्ट्रियल टाउनशिप में बंजर जमीन खरीद कर उद्योग लगाए जाएंगे। उद्योगों के अनुरूप युवाओं को प्रशिक्षण देकर उन्हें नौकरी उपलब्ध कराई जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि जनता ने अच्छे जनप्रतिनिधि दिए तो विकास भी तेजी से हो रहा है। अब यहां के नौजवानों को रोजगार के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा। बेटियों को भी यहीं शिक्षा की व्यवस्था होगी। अभिभावकों को चिंतित होने की आवश्यकता नहीं रहेगी और उनका जीवन और आसान होगा।
युवाओं को मिलेगी नौकरी व रोजगार
मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में 35 लाख करोड़ रुपए के निवेश प्रस्ताव मिले हैं। इन निवेश प्रस्तावों के जमीन पर उतरने से एक करोड़ युवाओं को नौकरी व रोजगार की व्यवस्था होगी। गोरखपुर के लिए भी कई प्रस्ताव मिले हैं। बिना बाधा डाले निवेश प्रस्तावों को जमीन पर उतारने तथा उज्जवल भविष्य का माध्यम बनने में सबकी सहभागिता होनी चाहिए।
आरएन सिंह के योगदान की सराहना
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ में समारोह में अपने संबोधन से पहले महाराष्ट्र विधान परिषद के पूर्व सदस्य एवं उत्तर भारतीय संघ मुंबई के पूर्व अध्यक्ष बाबू आरएन सिंह की प्रतिमा का अनावरण तथा उनकी स्मृति में बने अत्याधुनिक डायलिसिस सेंटर का लोकार्पण किया। वह आर्यन सिंह की समाधि स्थल पर भी गए और पुष्पांजलि अर्पित की। इसके बाद अपने संबोधन में उन्होंने जनसेवा में आरएन सिंह के योगदान की सराहना की।
मिल सकती है डायलिसिस की सुविधा
मुख्यमंत्री ने कहा कि आज के दौर में डायलिसिस सेंटर बहुत आवश्यक है। गोरखपुर और लखनऊ में डायलिसिस के लिए मरीजों की लंबी लाइन लगती है। आरएन सिंह के सुपुत्र संतोष सिंह ने एक शानदार टीम के साथ अत्याधुनिक सुविधा युक्त डायलिसिस सेंटर की सौगात दी है यहां एक दिन में 30 लोगों को डायलिसिस की सुविधा मिल सकती है। टेली कंसल्टेशन से जुड़ने पर यहां के मरीजों को कहीं और जाने की आवश्यकता नहीं होगी। इस अवसर पर सीएम ने आरएन सिंह के पुत्र व परिवार की प्रशंसा करते हुए कहा कि पिता के संकल्प को पूरा कर संतोष सिंह ने उन्हें बेहतरीन तरीके से श्रद्धांजलि दी है। इसके लिए संतोष सिंह व उनका पूरा परिवार साधुवाद का पात्र है।
पूरी तरह निशुल्क होगी डायलिसिस सुविधा
इस अवसर पर स्वर्गीय आरएन सिंह के पुत्र संतोष सिंह ने बताया कि इस डायलिसिस सेंटर की स्थापना पर करीब दस करोड़ रुपये का खर्च आया है। सेंटर का संचालन स्वर्गीय आरएन सिंह द्वारा स्थापित संस्था बीआईएस (बॉम्बे इंटेलीजेंस सिक्योरिटी) करेगी। उन्होंने बताया कि किट समेत सभी खर्चे सेंटर की तरफ से ही वहन किए जाएंगे। यहां रोगियों को सिर्फ एक रुपये खर्च कर पंजीकरण कराना होगा। डायलिसिस सेंटर के संचालन पर प्रतिमाह दस से ग्यारह लाख रुपये खर्च का अनुमान है। इस रकम की व्यवस्था के लिए बीआईएस ने 25 करोड़ रुपये फिक्स्ड डिपॉजिट कराए हैं। निशुल्क डायलिसिस सेंटर से गोरखपुर, बस्ती, आजमगढ़ व वाराणसी मंडल के किडनी रोगियों को काफी राहत मिलेगी।