कायस्थ संघ अंतर्राष्ट्रीय ने पीएम पर टिप्पणी के लिए की सहाय की निंदा
लखनऊ । कायस्थ संघ अंतर्राष्ट्रीय ने बिहार के कांग्रेस नेता सुबोध कांत सहाय की प्रधानमंत्री पर की गयी टिप्पणी की घोर निंदा की है। न्यास का कहना है कि देश के प्रधानमंत्री के प्रति इस तरह की टिप्पणी करना लोकतंत्र की हत्या करने के समान है। सुबोध कांत सहाय ने जिस तरह के बिगड़े बोल बोले हैं उससे न केवल कायस्थ समुदाय को शर्मिंदा होना पड़ा है बल्कि सुबोधकांत सहाय ने अपनी ओछी मानसिकता का परिचय भी दिया है।
कायस्थ संघ अंतर्राष्ट्रीय के अध्यक्ष दिनेश खरे ने कहा कि न्यास सुबोध कांत सहाय के बयान की घोर निदां करता है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जिस तरह अग्निपथ योजना का ऐलान किया है, वह दिखाता है कि प्रधानमंत्री युवाओं के प्रति और देश की सेना के प्रति कितनी उत्कृष्ट सोच रखते हैं। श्री खरे ने मांग की कि इस योजना के तहत किसी भी सेवा में जाने के पहले सभी के लिए चार साल की अग्निपथ सेवा की अनिर्वायता की जाए जिससे लोगों में देश प्रेम की भावना जागृत हो और लोग सेना के महत्व व कार्यप्रणाली को समझ सकें।
श्री खरे ने कहा कि आज भले लोग इस योजना का विरोध कर रहे हैं लेकिन प्रधानमंत्री मोदी जिस सोच पर चल रहे हैं। बीस साल बाद लोगों को पता चलेगा कि यह योजना कितनी अच्छी और कितनी जरूरी थी। उन्होंने कहा कि देश की सेना पर चालीस फीसद धनराशि केवल वेतन और पेंशन पर खर्च होती है जबकि सेना के शस्त्रों पर बहुत कम धनराशि खर्च हो रही है।
हमारे पास पड़ोसी देश चीन की तुलना में आधे परमाणु बम हैं। हम केवल पिछले दस सालो से राफेल के दम पर कूद रहे हैं। उन्होंने कहा कि कायस्थ संघ अंतरर्राष्ष्ट्रीय समाज के लोगों से आग्रह करता है कि इस योजना के प्रचार-प्रसार के लिए आगे आयें और लोगों को इसके फायदे बतायें।
गौरतलब है कि अग्निपथ योजना और राहुल गांधी से ईडी की पूछताछ को लेकर आक्रोशित कांग्रेस नेता सुबोध कांत सहाय ने जंतर-मंतर पर ‘सत्याग्रह के मंच से पीएम मोदी पर विवादित टिप्पणी करते हुए कहा था कि पीएम मोदी हिटलर की राह चल रहे हैं और हिटलर की मौत मरेंगे। सुबोध कांत ने जिस समय यह टिप्पणी की मंच पर कांग्रेस के कई बड़े नेता मौजूद थे और विवादित बयान पर तालियों की आवाज भी सुनी गई। अग्निपथ योजना पर पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा, ”मुझे तो लगता है हिटलर का सारा इतिहास इसने पार कर लिया। हुड्डा साहब बड़े गांव की भाषा में समझा रहे थे। हिटलर ने भी ऐसी संस्था बनाई थी जिसका नाम था खाकी, सेना के बीच उसने बनाया था। मोदी हिटलर की राह चलेगा तो हिटलर की मौत मरेगा। याद रखो मोदी।”